25 करोड़ मजदूरों को नौकरियां देने की योजना बना रही है सरकार
संदीप कुमार
| 16 Oct 2020 |
293
केंद्र सरकार ने असंगठित क्षेत्र के प्रवासियों और अन्य श्रमिकों के लिए एक पोर्टल खोलने का प्रस्ताव रखा है. इसमें आने वाले कुछ सालों में कम से कम 25 करोड़ मजदूरों का नामांकन हो सकेगा. यह पोर्टल उनके सामाजिक कल्याण के लिए काम करेगा. हिंदी अखबार 'हिंदुस्तान' की बेवसाइट की एक खबर के मुताबिक केंद्रीय श्रम सचिव अपूर्व चंद्र के मुताबिक यह अपने तरह का पहला पोर्टल होगा. यह आयुष्मान भारत या सब्सिडी वाली राशन योजना गरीब कल्याण अन्न योजना जैसे कल्याणकारी योजनाओं से भी जुड़ा होगा. श्रमिकों को मोबाइल फोन के माध्यम से सीधे पंजीकृत किया जाएगा.
सरकार ने भारतीय कार्यबल के प्रवास पर पहला आधिकारिक सर्वेक्षण शुरू करने की योजना बनाई है. इसमें मौसमी और लंबे समय तक प्रवासीय रहने वाले दोनों शामिल हैं. चंद्रा ने कहा कि पोर्टल और सर्वेक्षण से सरकार को माइग्रेशन पैटर्न को बेहतर तरीके से समझने में मदद मिल सकती है. अलग-अलग तरह के मजदूरों का डेटा जुटाने की कोशिश की जा रही है. उन्होंने कहा, कार्यकर्ता आधार कार्ड से अपना रजिस्ट्रेशन कर सकते हैं या फिर दूसरे तीरकों से भी इसे पूरा किया जा सकता है. श्रम मंत्रालय घरेलू श्रमिकों और पेशेवरों पर दो और सर्वेक्षणों की योजना बना रहा है.
कोरोना महामारी की वजह से किए गए लॉकडाउन के दौरान प्रवासी मजदूरों की दुर्दशा, राजमार्गों पर पैदल अपने घर लौटने के लिए जाते हुए मजदूरों और रेलवे के गाड़ियों की लेतलतीफी को देखकर केंद्र सरकार की काफी आलोचना हुई थी. श्रम मंत्रालय संसद में यह नहीं बता पाया था कि लॉकडाउन के दौरान कितने श्रमिकों ने अपनी नौकरी खोई और घर लौटते समय कितने मजदूरों की मौत हुई. मंत्रालय ने कहा कि 1.4 करोड़ प्रवासी कर्मचारी लॉकडाउन के दौरान घर लौट आए. लेकिन विशेषज्ञों ने सुझाव दिया कि ये डेटा सिर्फ श्रमिक विशेष ट्रेनों से यात्रा करने वाले मजदूरों का था. इसमें बस, ट्रक और अन्य साधनों से लौटने की कोशिश करने वाले श्रमिकों का आंकड़ा इसमें शामिल नहीं था.
मीडिया रिपोर्टों के मुताबिक ओवरलोड ट्रकों में वापस चलने या यात्रा करने की कोशिश के दौरान कई श्रमिकों और उनके परिवार के सदस्यों की मौत हो गई थी. विभिन्न अनुमानों के मुताबिक भारत में 40 करोड़ से अधिक असंगठित श्रमिक हैं. श्रम पर संसद की स्थायी समिति ने हाल ही में सामाजिक सुरक्षा के लिए प्रवासी श्रमिकों की परिभाषा का विस्तार करने का सुझाव दिया है. श्रम पैनल के प्रमुख भर्तृहरि महताब ने कहा, ''यह अच्छा है कि सरकार ने असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों को पंजीकृत करने के हमारे सुझाव को स्वीकार कर लिया है. यदि उन्होंने 25 करोड़ श्रमिकों को भर्ती करने के लिए प्रारंभिक लक्ष्य निर्धारित किया है, तो इसका मतलब है कि वे मुख्य रूप से निर्माण क्षेत्र को लक्षित करेंगे क्योंकि अधिकांश असंगठित और प्रवासी श्रमिक उस क्षेत्र के हैं.''
श्रम सचिव ने हाल ही में लागू श्रम संहिता का भी समर्थन किया. उन्होंने कहा, ''निश्चित अवधि के रोजगार में निश्चित वृद्धि होगी. कई उद्योगों ने हमें बताया था कि वे भीड़ के मौसम के दौरान लोगों को रोजगार देने के इच्छुक हैं या वे अपने अवकाश के दौरान छात्रों को अंशकालिक काम में चाहते थे. अब, ये सभी रास्ते खुलेंगे.''
To contribute an article to CULT CURRENT or enquire about us, please write to cultcurrent@gmail.com . If you want to comment on an article, please post your comment on the relevant story page.
All content © Cult Current, unless otherwise noted or attributed. CULT CURRENT is published by the URJAS MEDIA VENTURE, this is registered under UDHYOG AADHAR-UDYAM-WB-14-0119166 (Govt. of India)